Dausa News: दौसा के ऐतिहासिक और कलात्मक नगर अभानेरी में आयोजित अभानेरी महोत्सव 2024 के पहले दिन की सांस्कृतिक संध्या का उद्घाटन जिला कलेक्टर देवेंद्र कुमार और विशेष अतिथि बांदीकुई के विधायक भागचंद टांकड़ा ने किया। इस अवसर पर, विभिन्न राजस्थानी लोक कलाकारों ने आकर्षक प्रस्तुतियों से सभी दर्शकों का मन मोह लिया।
सांस्कृतिक संध्या की विशेषताएँ
संस्कृति और कला के इस महोत्सव में कई नामी राजस्थानी कलाकारों ने अपने अद्भुत प्रदर्शन से सबका ध्यान आकर्षित किया। उपेंद्र सिंह शेखावत, पर्यटन विभाग के उपनिदेशक ने बताया कि इस सांस्कृतिक संध्या में विश्व प्रसिद्ध राजस्थानी कलाकारों और उनकी टीमों ने प्रस्तुतियां दीं। इसमें मंगनियार गायक साकर खान, भपंग वादक यूसुफ, गंगा देवी की तेरह ताली नृत्य, बंवालीलाल जाट का कच्ची घोड़ी नृत्य, प्रभु दयाल का पद डांगल, सुरेंद्र घिंटाला का चंग धाप नृत्य, अंजना कुमावत का घूमर और छारी नृत्य, चंदलाल का कालबेलिया नृत्य और बाने सिंह का रिम भवाई नृत्य शामिल था।
दूसरे दिन की गतिविधियाँ
महोत्सव के दूसरे दिन भी, लोक कलाकारों ने पर्यटकों को राजस्थानी संस्कृति से परिचित कराया। कच्ची घोड़ी नृत्य, कठपुतली नृत्य, पद डांगल, बहुरूपिया और शहनाई की प्रस्तुतियों ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। स्थानीय कारीगरों और कलाकारों ने भी इस महोत्सव में अपनी कला का प्रदर्शन किया। चूड़ियाँ, मिट्टी के सिक्के, कालीन निर्माण और जादू शो जैसी विभिन्न कलाओं का प्रदर्शन किया।
पर्यटकों का उत्साह
इस महोत्सव में विदेशी और घरेलू पर्यटकों की एक बड़ी संख्या मौजूद थी। पर्यटकों ने सांस्कृतिक प्रस्तुतियों का आनंद लेते हुए अपने अनुभव साझा किए। विदेशी पर्यटकों ने राजस्थानी नृत्य और संगीत के साथ-साथ विभिन्न हस्तशिल्प कला का अनुभव करने में बहुत रुचि दिखाई। उन्होंने न केवल नृत्य में भाग लिया बल्कि स्थानीय कलाकारों के साथ भी बातचीत की, जिससे सांस्कृतिक आदान-प्रदान का एक सुंदर दृश्य उपस्थित हुआ।
अभानेरी महोत्सव का महत्व
अभानेरी महोत्सव का आयोजन न केवल स्थानीय संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए किया जाता है, बल्कि यह पर्यटन को भी प्रोत्साहित करता है। यह राजस्थानी संस्कृति की समृद्ध विरासत को प्रदर्शित करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम है। इस महोत्सव में भाग लेकर, पर्यटक न केवल स्थानीय संस्कृति का अनुभव करते हैं बल्कि स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी प्रोत्साहित करते हैं।
स्थानीय कलाकारों का योगदान
स्थानीय कलाकारों ने इस महोत्सव में अपनी कला का प्रदर्शन करके न केवल अपनी संस्कृति को संरक्षित किया बल्कि युवा पीढ़ी को भी प्रेरित किया। इस प्रकार के आयोजनों से नए कलाकारों को मंच मिलता है, जो उनकी कला को प्रदर्शित करने का अवसर प्रदान करता है।
सरकार की भूमिका
इस महोत्सव के आयोजन में सरकारी अधिकारियों और स्थानीय प्रशासन की भी महत्वपूर्ण भूमिका रही। जिला कलेक्टर देवेंद्र कुमार और अन्य अधिकारियों ने इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए कई उपाय किए। उन्होंने बताया कि इस प्रकार के महोत्सव स्थानीय संस्कृति के संरक्षण और संवर्धन के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं।
पर्यटकों की सुरक्षा
महोत्सव के दौरान पर्यटकों की सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा गया। स्थानीय पुलिस और सुरक्षा बलों ने इस आयोजन के दौरान सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित की। इसने पर्यटकों को एक सुरक्षित और आनंददायक अनुभव प्रदान किया।
भविष्य की योजनाएँ
अभानेरी महोत्सव के सफल आयोजन के बाद, स्थानीय प्रशासन और पर्यटन विभाग भविष्य में और भी बड़े और विविध कार्यक्रम आयोजित करने की योजना बना रहे हैं। इसका उद्देश्य अधिक से अधिक पर्यटकों को आकर्षित करना और राजस्थानी संस्कृति के विभिन्न पहलुओं को प्रदर्शित करना है।